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कॉर्बेटपार्क पहुंचे हेड ऑफ फारेस्ट ने कुमाऊं भर के अधिकारियों के साथ की बैठक।

रामनगर

रामनगर पहुंचे प्रदेश के हेड ऑफ फॉरेस्ट धनंजय मोहन ने आज पहली बार हॉफ बनने के बाद कॉर्बेट पार्क पहुंचने पर मीडिया से खास बातचीत की, उन्होंने कहा कि वनों में वानाग्नि की घटनाओं से निपटने के लिए हम पूरी तरह कार्य कर रहे हैं ,हमारे पूरे वन विभाग की टीम अधिकारी कर्मचारी सब मुस्तैद है ,साथ ही उन्होंने कहा कि प्रदेश में अब तक 425 से ज्यादा लोगों को वानाग्नि की घटनाओं को अंजाम देने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।

उन्होंने कहा की हमे उम्मीद है कि इसी वर्ष उसका एक वेब बेस,पोर्टल बेस,ऑनलाइन मैनेजमेंट पोर्टल हम शुरू करने जा रहा है वानाग्नि के लिए ,साथ ही हमारे द्वारा एक अलग सेल डेवलप कर दिया है मानव वन्यजीव घटनाओं के लिये जो इस पर लगातार नज़र रख रहा है, उन्होंने कहा कार्य को गति देने के लिए हम मॉडल अप्रोच के साथ अब कार्य करने जा रहे हैं, जिससे वानाग्नि और मानव वन्य जीव की समस्याएं कम से कम सामने आए।

वीओ-बता दें कि आज वन विभाग उत्तराखंड के मुखिया हेड ऑफ फॉरेस्ट रामनगर पहुंचे,जहां फारेस्ट गेस्ट हाउस में उन्होंने कुमाऊं भर के अधिकारियों के साथ बैठक की ,जहां वानाग्नि की घटनाओं को लेकर और उससे निपटने को लेकर चर्चा की गई,वहीं बातचीत में उन्होंने कहा कि आने वाले 8 से 10 दिन बारिश की बहुत बड़ी संभावना नहीं है ,उन्होंने कहा कि वानाग्नि की घटनाओं को लेकर पूरे उत्तराखंड में हमारी वन अधिकारी सजग है, पूरे प्रदेश में 1400 से ज्यादा क्रू सेंटर बनाए गए हैं, जिनसे लगातार सूचनाएं ली जा रही है, कहीं भी वानाग्नि की घटनाएं होती हैं तो पूरी टीम मौके पर पहुंचकर वानाग्नि को रोकने का कार्य में जुटती है। उन्होंने कहा जहां से भी सूचना आ रही है आग पर नियंत्रण पा लिया जा रहा है, उन्होंने कहा कि जहां कहीं आग की बड़ी घटनाएं हैं वह हमारे द्वारा आर्मी के साथ ही एनडीआरएफ की मदद भी ली गई है। वही बातचीत में उन्होंने कहा कि आग अधिकतर मानवी कारणोंसे ही लगती है ,पर कई बार एक्सीडेंटल भी लग जाती है, उन्होंने कहा कई बार शरारती तत्वों द्वारा आग लगाई जाती है जिनके खिलाफ इस बार हमारे द्वारा बड़ी संख्या में कार्रवाई की गई है धनंजय ने कहा कि हमारे द्वारा अब तक सवा चार सो लोगो के खिलाफ कार्रवाई की गई गई जिसमें 70 लोगो के खिलाफ नामजद रिपोर्ट दर्ज की गई है, उन्होंने कहा कि हम एक मैसेज भी देना चाह रही हैं कि अगर लोग आगे नहीं लगाएंगे तो आज की घटनाएं बहुत कम होगी। वही लगातार होती मानव वन्य जीव घटनाओं को लेकर धनंजय मोहन ने कहा कि यह बहुत ही चिंता का विषय है और प्रदेश के प्रदेश के साथी देश के अलग-अलग क्षेत्र में भी यह घटनाएं सामने आ रही है उन्होंने कहा कि इसको लेकर हमारे द्वारा लगातार ग्राम वासियों से संपर्क भी किया जा रहा है कि हम सब मिलकर इन सब चीज का सामना करें,साथ ही उन्होंने कहा कि इसको कम करने को लेकर जितनी भी मॉडर्न टेक्नोलॉजी का स्तेमाल किया जा सकता है उस पर भी कार्य किया जा रहा है, उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास है कि मानव वन्यजीव की घटनाएं पर अंकुश लगाया जा सके और कम से कम ऐसी घटनाएं सामने आए। साथ ही उन्होंने कहा कि जो हमारा वन प्रबंधन है उसको और दुरस्त करने के लिए प्रयासरत है।अब हम डिजिटल प्लेटफार्म में वानाग्नि प्रबंधन शुरू करने जा रहे हैं, उन्होंने कहा कि जिस पर हमारे द्वारा कार्य शुरू कर दिया गया है ,उन्होंने कहा की हमे उम्मीद है कि इसी वर्ष उसका एक वेब बेस,पोर्टल बेस,ऑनलाइन मैनेजमेंट पोर्टल हम शुरू करने जा रहा है वानाग्नि के लिए ,साथ ही हमारे द्वारा एक अलग सेल डेवलप कर दिया है मानव वन्यजीव घटनाओं के लिये जो इस पर लगातार नज़र रख रहा है, उन्होंने कहा कार्य को गति देने के लिए हम मॉडल अप्रोच के साथ अब कार्य करने जा रहे हैं, जिससे वानाग्नि और मानव वन्य जीव की समस्याएं कम से कम सामने आए।

 

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